संध्या तर्पण विधि
संध्या तर्पण विधि : शारीरिक शुद्धि अर्थात शुचिता के बाद नित्यकर्म में संध्या, तर्पण, पंचदेवता व विष्णु पूजन का क्रम आता है। संध्या तो त्रैकालिक होती है अर्थात प्रातः, मध्यान और सायाह्न तीनों कालों में करणीय है, किन्तु तर्पण व पंचदेवता विष्णु पूजन प्रातः का ही नित्यकर्म है ये दोनों त्रैकालिक नहीं हैं।