रामार्चा पूजा विधि – संपूर्ण विधि

रामार्चा पूजा विधि – संपूर्ण विधि

कथा श्रवण करके हवन, आरती, क्षमाप्रार्थना, प्रदक्षिणा, विसर्जन, दक्षिणा आदि करें।

रामार्चा में त्रुटि : रामार्चा भले ही राजसी पूजा क्यों न हो, भले ही रामार्चा में अत्यधिक धन व्यय क्यों न होता हो तथापि अधिकांशतः हवन विधिपूर्वक नहीं की जाती है। इसका मुख्य कारण तो यह है की रामार्चा योग्य कर्मकांडी द्वारा कम ही कराया जाता है। जबकि सविधि हवन सुयोग्य कर्मकांडी आचार्य ही कर सकते हैं। हवन तभी करना चाहिये जब सुयोग्य कर्मकांडी आचार्य सविधि करें अन्यथा न करना ही श्रेयस्कर होता है।

प्रथम चरणद्वितीय चरण   तृतीय चरण   चतुर्थ चरण

नित्य कर्म पूजा पद्धति मंत्र

कर्मकांड विधि में शास्त्रोक्त प्रमाणों के साथ प्रामाणिक चर्चा की जाती है एवं कई महत्वपूर्ण विषयों की चर्चा पूर्व भी की जा चुकी है। तथापि सनातनद्रोही उचित तथ्य को जनसामान्य तक पहुंचने में अवरोध उत्पन्न करते हैं। एक बड़ा वैश्विक समूह है जो सनातन विरोध की बातों को प्रचारित करता है। गूगल भी उसी समूह का सहयोग करते पाया जा रहा है अतः जनसामान्य तक उचित बातों को जनसामान्य ही पहुंचा सकता है इसके लिये आपको भी अधिकतम लोगों से साझा करने की आवश्यकता है।

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