
शंकराचार्य का कथन 100% सही है – लेकिन राम लला की प्राण प्रतिष्ठा भी गलत नहीं है।
कर्मकांड विधि का इस आलेख में मात्र इतना उद्देश्य है कि देशभर के श्रद्धालु रामभक्तों के मन में जो संशय उत्पन्न करने का प्रयास किया जा रहा है उसका निस्तारण हो सके। प्रलाप करने वालों के लिये समय नष्ट करना भी अनावश्यक है। प्रलाप करने वालों के लिये गोस्वामी तुलसीदास की सर्वोत्तम चौपाई जो उन्हें सचेत करती है वह है : संकर सहस विष्णु अज तोहिं । सकहिं न राखि राम कर द्रोही॥